सोमवार, 14 अगस्त 2017

'आभास' में निशक्त की शक्ति

'आभास'  में निशक्त की शक्ति

मूमल नेटवर्क, जयपुर। इन दिनों जेकेके में प्रिन्ट आर्ट पर आधारित तीन प्रदर्शनियां लगी हुई हैं। पिछले दिनों प्रदर्शनी के दौरान टेक्टाईल आर्ट एक्सपीरियंस वर्कशॉप का आयोलन किया गया जिसमें करीब 100 विद्यार्थियों ने भाग लिया। विशेश बच्चों के लिए आयोजित इस वर्कशॉप में उमंग स्कूल, आरएनकेएस ब्लाइंड स्कूल तथा सेठ आनंदीलाल पोद्दार मूक बधिर संस्थान के विद्यार्थियों ने भाग लिया।
इसके प्रतिभागियों को ब्रेल टेक्टाईल पेंटिंग्स, लार्ज स्क्रिप्ट फॉन्ट्स एवं साइन इंटरप्रेटर्स के बारे में सिखाया गया। इस वर्कषॉप का उद्देश्य आर्ट एग्जीबिशंस को एक्सेसबल तथा डिसेबल फ्र्रेंडली बनाना था। वर्कशॉप का एक उद्देश्य सभी के लिए समान भाव सेकला को सुलभ बनाना भी था।

प्रदर्शनी को डिसेबल फे्रंडली बनाने के लिए विषेष योग्यजनों को आर्ट गैलरीज में प्रिंट्स छूने की स्वतन्त्रता दी गई।। प्रतिभागियों को प्रिंट मेकिंग की विभिन्न तकनीकों की जानकारी दी गई और भारत में पिं्रट मेकिंग की ऐतिहासिक पृष्ठभूमि के बारे में भी बताया गया। सभी संस्थाओं से आए हुए बच्चों ने प्रिंट तकनीक की सरलतम जानकार प्राप्त करने का आनन्द लिया। यह वर्कशॉप हेरिटेज आर्किटेक्ट तथा एक्सेस फॉर ऑल के सिद्धांत शाह के सहयोग से डीएजी मॉडर्न द्वारा आयोजित की गई थी।

कोई टिप्पणी नहीं: